मिर्ज़ापुर: एंटी करप्शन मिर्ज़ापुर की टीम ने चील्ह थानेदार शिवशंकर सिंह को उनके थाने परिसर से 30 हजार रुपये रिश्वत लेते हुए गुरुवार की दोपहर रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। पकड़े गए थानेदार को टीम शहर कोतवाली लेकर पहुंची। जहां उसके विरुद्ध भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज कराकर जेल भेज दिया गया।
भ्रष्टाचार निवारण संगठन विंध्याचल मंडल के मिर्ज़ापुर थाने के प्रभारी विनय सिंह ने बताया कि चील्ह के एक गांव के रहने वाले एक व्यक्ति की भांजी काे चील्ह थाना क्षेत्र के बलुआ गांव के रहने वाला एक युवक परेशान कर रहा था।
लगातार युवती को परेशान करने की जानकारी होने पर उसके मामा ने आरोपित युवक के विरुद्ध छेड़खानी का मुकदमा दर्ज कराने के लिए 18 फरवरी की दोपहर चील्ह थाने के प्रभारी निरीक्षक शिवशंकर सिंह को तहरीर दिए थे। एक सप्ताह बीत जाने के बाद भी थानेदार शिवशंकर सिंह ने आरोपित के विरुद्ध मुकदमा दर्ज नहीं किया।
मुकदमा दर्ज हाेने की जानकारी लेने जब पीड़ित थाने पहुंचे तो थानेदार हीलाहवाली करने लगा। कारण पूछने पर कहा कि मुकदमा दर्ज कराना है तो इसके लिए 50 हजार रुपये देने होंगे। यह सुन वह परेशान हो गए। कई बार गुहार लगाने के बावजूद थानेदार ने बिना रुपये लिए मुकदमा नहीं लिखने की बात कही तो पीड़ित रुपये देने के लिए तैयार हो गए।
पहली बार में 30 हजार रुपये देने की बात हुई। मुकदमा दर्ज करने के लिए रिश्वत की मांग करने पर पीड़ित ने थानेदार पर कार्रवाई कराने का मन बना लिया। उन्होंने मामले की शिकायत एंटी करप्शन मीरजापुर से करते हुए 25 फरवरी को आइजीआरएस मुख्यमंत्री पर शिकायत कर दी।
शासन से भी आरोपित थानेदार पर कार्रवाई करने का निर्देश आया तो वे एंटी करप्शन टीम के निरीक्षक अनिल कुमार चौरसिया, निरीक्षक कृष्ण मोहन राय, निरीक्षक अशोक कुमार सिंह, हेड कॉन्स्टेबल पुनीत सिंह, मुकेश यादव, सर्वेश तिवारी आदि के साथ दोपहर में चील्ह थाने पहुंचे। परिसर में जैसे ही शिकायतकर्ता ने थानेदार को रिश्वत के 30 हजार रुपये दिए तो टीम ने आरोपित थानेदार शिवशंकर सिंह को दबोच लिया।
शहर कोतवाली लाकर उनका हाथ धुलवाया गया तो टीम की ओर से केमिकल वाले दिए गए रुपये के कारण उनके हाथ के रंग लाल हो गए। आरोपित थानेदार के विरुद्ध मुकदमा दर्ज करके उसे गिरफ्तार करते हुए जेल भेज दिया।